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रांची/डेस्क: शेख हसीना ने भाषण देते हुए कहा था मै सत्ता छोड़ रही हूँ ताकि मुझे शवों का जुलूसन न देखना पड़े. उन्होंने अमेरिका पर देश में सत्ता परिवर्तन का आरोप भी लगाया है.
बांग्लादेश में हुए इस हमले को हफ्ते हो चुके हैं. शेख हसीना एक हफ्ते पहले प्रधानमंत्री थी पर अब वो पूर्व मंत्री हैं. इन सब मामलों के बीच एक खबर सामने आ रही है. शेख हसीना अपने पद से इस्तीफा देने से पहले अपने देश को कुछ संबोधित करना चाहतीं थी, खासकर उन प्रदर्शनकारीयों को जिनके आंदोलन के वजह से उन्हें शीघ्र पद छोड़ना पड़ा, प्रदर्शनकारीयों के उनके घर तक आ जाने के कारण, सुरक्षा अधिकारीयों ने उन्हें जल्द से जल्द वहां से चले जाने की सलाह दी.
शेख हसीना का वो आखरी संदेश सामने आया है जिसमें शेख हसीना के भाषण में कहा था कि मैंने इस्तीफा दे दिया, ताकि मैं शवों का जुलूस नहीं देखना चाहती थी. वे छात्रों के शवों को मोहरा बना कर सत्ता तक पहुचना चाहते थे. मैंने इसकी अनुमति उनको नहीं दी और पद को ही छोड़ दिया . मैं अपने पद पर सुरक्षित रह सकती थी, अगर मैं सेंट मार्टिन द्वीप(आईलैंड) की संप्रभुता अमेरिका के सामने समर्पित कर दी होती और उसे बंगाल की खाड़ी में अपना प्रभुत्व स्थापित करने की अनुमति दे दी होती. मैं अपने देश के लोगों से विनती करती हूं, कि आप कट्टरपंथियों के बहकावे में न आएं.
अनुभवी नेता द्वारा विरोध प्रदर्शन को कुचलने की कोशिश जिसके कारण 400 से अधिक प्रदर्शनकारी मारे गए. साथ ही भाषण में उन्होंने कहा कि अगर मैं देश में रहती तो अधिक लोग मारे जाते, इसलिए मुझे देश छोड़ने का कठिन निर्णय लेना पड़ा ,आपने मुझे चुना इसलिए मैं आपकी नेता हूँ आप, आप मेरी ताकत थे.