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रांची/डेस्क: भगवान वेंकटेश्वर के दर्शनों के लिए मशहूर तिरुमला मंदिर में अब भक्तों को घंटों तक कतार में नहीं खड़ा रहना पड़ेगा. तिरुमला तिरुपति देवस्थानम (TTD) ने एक नई तकनीकी पहल की शुरुआत की है, जिसमें भीड़ नियंत्रण के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) का सहारा लिया जा रहा हैं. TTD का दावा है कि इस व्यवस्था से जहां पहले दर्शन में 8 से 12 घंटे तक का समय लगता था, अब वही प्रक्रिया महज 2 घंटे में पूरी की जा सकेगी. यह योजना वर्तमान में परीक्षण के दौर में है और इसे Google और TCS जैसी दिग्गज कंपनियों के सहयोग से विकसित किया जा रहा हैं.
TTD अध्यक्ष बीआर नायडू ने इस कदम को भविष्य के लिए जरूरी और व्यावहारिक बताया हैं. उनका कहना है कि इससे न केवल भीड़ प्रबंधन में सुधार होगा, बल्कि श्रद्धालुओं को बेहतर अनुभव भी मिलेगा. उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि इस योजना पर TTD का सीधा खर्च नहीं आएगा और धार्मिक रीति-रिवाजों में कोई हस्तक्षेप नहीं होगा.
हालांकि, इस पहल पर विवाद भी खड़ा हो गया हैं. TTD के पूर्व कार्यकारी अधिकारी और रिटायर्ड IAS एलवी सुब्रमण्यम ने इस तकनीकी समाधान को अव्यावहारिक बताते हुए कहा कि सिर्फ AI से लाखों श्रद्धालुओं की भीड़ को नियंत्रित करना संभव नहीं हैं. उनका मानना है कि इतने संसाधन अगर तीर्थयात्रियों की बुनियादी ज़रूरतों जैसे पीने का पानी, शौचालय और विश्राम स्थलों पर खर्च किए जाते, तो उसका असर ज्यादा दिखता. फिलहाल, श्रद्धालु इस बदलाव को लेकर उत्सुक हैं. हर महीने लाखों की संख्या में तिरुमला पहुंचने वाले भक्तों को अगर यह तकनीक वाकई राहत दिला पाई, तो यह भारतीय धार्मिक स्थलों के प्रबंधन में एक नई मिसाल बन सकती हैं.