झारखंड » गुमलाPosted at: अगस्त 08, 2025 डुमरी प्रखंड में सरकारी आदेशों की अवहेलना, अवैध बालू खनन जारी
रोजाना उठ रहा बालू, माफिया दुगने दाम में बेच रहे, जनता परेशान

न्यूज़11 भारत
गुमला/डेस्क: गुमला जिले के आकांक्षी प्रखंड डुमरी में झारखंड सरकार द्वारा लगाए गए(एनजीटी) के स्पष्ट प्रतिबंधों के बावजूद अवैध बालू खनन का खेल खुलेआम जारी है. बालू माफिया प्रतिदिन भारी मात्रा में नदियों से बालू निकालकर बाजार में दुगने दामों पर बेच रहे हैं, जिससे सरकार को राजस्व का नुकसान और आम जनता को आर्थिक बोझ का सामना करना पड़ रहा है.
स्थानीय सूत्रों के अनुसार, बासा नदी और कटारी नदी घाटों से सुबह से शाम तक दर्जनों ट्रैक्टरों द्वारा बालू का उठाव होता है. सुबह 5 बजे से ही ट्रैक्टर घाटों पर कतारबद्ध खड़े हो जाते हैं और शाम 7 बजे तक बालू उठाने का कार्य निर्बाध चलता है. सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि यह सब प्रखंड कार्यालय और थाना के सामने से गुजरते हुए होता है, लेकिन प्रशासन मौन बना हुआ है.
अवैधता को छिपाने के लिए अधिकांश ट्रैक्टर बिना नंबर प्लेट के चलते हैं, जिससे उनकी पहचान कर पाना मुश्किल हो जाता है.
प्रशासन की अनदेखी और निष्क्रियता के चलते माफिया बेखौफ हो चुके हैं. बालू की कालाबाजारी कर बाजार में इसे 800–900 रुपये प्रति ट्रैक्टर बेचा जा रहा है, जबकि पूर्व में इसकी कीमत 400–500 रुपये थी. इससे स्थानीय लोगों को निर्माण कार्यों में परेशानी और अधिक कीमत चुकानी पड़ रही है.
वहीं, गुमला की उपायुक्त प्रेरणा दीक्षित के द्वारा पूर्व में यह स्पष्ट निर्देश जारी किया गया था कि जब तक एनजीटी की अनुमति नहीं मिलती, जिले में बालू खनन पूरी तरह प्रतिबंधित रहेगा. लेकिन डुमरी में इन आदेशों का सरेआम उल्लंघन हो रहा है.