मांडर विधानसभा क्षेत्र में सामाजिक और धार्मिक कार्यक्रम में शामिल हुई मंत्री शिल्पी नेहा तिर्की
न्यूज़11 भारत
रांची/डेस्क: केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार जबतक सरना धर्म कोड की घोषणा नहीं कर देती, तबतक झारखंड में जातीय जनगणना नहीं होने दिया जाएगा. धर्म तय करने की आजादी संविधान में निहित है. ये हमारा मौलिक अधिकार है. ये बात राज्य की कृषि , पशुपालन एवं सहकारिता मंत्री शिल्पी नेहा तिर्की ने कही है. रांची जिला के लापुंग प्रखंड अंतर्गत फतेहपुर मुंडा टोली में चौथा झंडा स्थापना दिवस सह सरना प्रार्थना सभा को वो संबोधित कर रही थीं.
उन्होंने कहा कि झंडा बदलना हमारी परम्परा और संस्कृति को मजबूती प्रदान करता है. सरना स्थल का जीर्णोद्धार हो चुका है और वायदे के अनुरूप यहां शेड का निर्माण भी जरूर होगा. ये स्थल सामूहिकता और एकजुटता का प्रतीक है. देश में जातीय जनगणना की घोषणा केंद्र सरकार ने की है. संविधान हम सबको धर्म चुनने की आजादी देता है. ये हमारा मौलिक अधिकार है. जब तक केंद्र सरकार के द्वारा सरना धर्म कोड की घोषणा नहीं कर दी जाती है , तबतक झारखंड में जातीय जनगणना नहीं होने दिया जाएगा. हमें जातीय जनगणना में अलग से एक कॉलम चाहिए. 26 मई को सरना धर्म कोड की मांग को लेकर राजभवन का घेराव कार्यक्रम है. अगर जरूरत पड़ी तो दिल्ली के जंतर मंतर पर भी सरना धर्म कोड की मांग को लेकर कार्यक्रम होगा.
मंत्री शिल्पी नेहा तिर्की ने संत लुकस कैथोलिक चर्च कुरकुरिया लापुंग के प्रांगण में महिला सभा को संबोधित किया. उन्होंने इस मौके पर कहा कि महिलाओं की भागीदारी के बगैर विकसित समाज की परिकल्पना अधूरी है. आज महिलाएं हर क्षेत्र में अपनी सफलता का झंडा बुलंद कर रहीं हैं. महिलाओं को समाज में अन्याय और शोषण का शिकार हो रही महिलाओं के खिलाफ लड़ना होगा. महिलाओं को भागीदारी हमेशा धार्मिक और सामाजिक कार्यक्रम में देखने को मिलती है , पर अब समय आ गया है महिलाओं को राजनीतिक दखल अंदाजी बढ़ाने की. महिलाओं के लिए ये समय अवसर को सफलता में बदलने का है.
कृषि , पशुपालन एवं सहकारिता मंत्री शिल्पी नेहा तिर्की मांडर प्रखंड के नवाटांड चर्च परिसर में बसिल तिग्गा के पावन पुरोहित अभिषेक कार्यक्रम में भी शामिल हुई. इस मौके पर उन्होंने अपने संदेश में कहा कि प्रभु की सेवा में अपने संपूर्ण जीवन को समर्पित करना इतना आसान नहीं. मगर बसिल तिग्गा ने भविष्य की तमाम चुनौतियों को सहजता से स्वीकार किया है. आध्यात्म से जुड़ना और उसे आगे बढ़ाना परंपरा का हिस्सा है. परमेश्वर इन्हें हर कठिन मोड़ पर मजबूती से लड़ने की ताकत दे. इस विशेष मौके पर कोलकाता के धर्माध्यक्ष थॉमस डिसूजा, रांची धर्माध्यक्ष विनसेंट आइंद , फादर डेविड, फादर क्रिस्टोफर लकड़ा उपस्थित रहे.