क्लीन सिटी व स्मार्ट सिटी की परिकल्पना सफाई कर्मियों के बिना पूरी नहीं हो सकती:अंजना पवार
प्रशांत शर्मा/न्यूज़11 भारत
हजारीबाग/डेस्क:- राष्ट्रीय सफाई कर्मचारी आयोग के उपाध्यक्ष अंजना पवार,सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्रालय, नई दिल्ली की अध्यक्षता में नगर निगम व अन्य संस्थाओं में कार्यरत सफाई कर्मियों को दी जाने वाली सुविधाओं व उनकी सुरक्षा के लिए सरकारी संस्थाओं द्वारा किए जा रहे हैं कार्यों की जानकारी को लेकर बैठक की.
शुक्रवार को समाहरणालय सभाकक्ष में आयोजित बैठक में उपायुक्त श्रीमती नैंसी सहाय भी मौजूद रही.समीक्षा के दौरान उपाध्यक्ष श्रीमती पवार ने कहा कि राष्ट्रीय सफाई कर्मचारी आयोग राज्य के हर जिलों में जाकर सफाई कर्मियों के सामाजिक,आर्थिक,शैक्षणिक पुनर्वास कैसे हो इस संदर्भ में बैठक आयोजित करती है.
उन्होंने नगर निगम के अधिकारीयों को संबोधित करते हुए कहा कि देश स्तर पर चलाए जा रहे स्वच्छ भारत मिशन की जो परिकल्पना है वह बिना सफाई कर्मचारी के पूरा नहीं हो सकती है इन्हें पूर्ण सम्मान देना होगा. कोविड जैसी महामारी में इस वर्ग ने सबसे अधिक कार्य किया अपने परिवारों का साथ छोड़कर इन्होंने सामाजिक कार्यों को महत्ता देते हुए अपने कार्यों का निर्वहन किया,इसके प्रति हमेशा हमें संवेदना रखनी चाहिए. अधिकारी और कर्मचारी एक दूसरे के पूरक होते हैं देश की तरक्की चाहते हैं तो इनका हाथ पकड़कर चलना होगा. क्लीन सिटी,स्मार्ट सिटी की परिकल्पना इनके बगैर अधूरी है. आज विभिन्न शहरों में सफाई कर्मचारी कार्यरत है वे सभी कॉन्ट्रैक्ट या अनुबंध आधारित या दैनिक मानदेय पर कार्यरत हैं. इनके सामाजिक उत्थान के लिए और कार्य करने की आवश्यकता जताई.
उन्होंने कहा सफाई कर्मचारी गंभीर परिस्थितियों में कार्य करते है इन कर्मियों का हेल्थ चेकअप नियमित रूप से हो ताकि यह किसी गंभीर बीमारी के शिकार ना हो इसके लिए हर एक महीने पूर्ण बॉडी चैकअप करने का निर्देश दिया.
इन्हें समुचित सम्मान दें. सफाई कर्मचारियों के पहचान के लिए आईडी कार्ड बनवाने तथा उसमे सभी आवश्यक जानकारियों को दर्ज करने का भी सुझाव दिया. इनके लिए मौसम आधारित साफ सुथरे यूनिफॉर्म उपलब्ध कराने को कहा तथा इनकी जायज मांगों को भी पूर्ण करने को भी कहा. अनुकंपा के आधार पर नियुक्ति की प्रक्रिया में किसी भी प्रकार की कोताही न हो यह सुनिश्चित करने को कहा. साथ ही सभी सफाई कर्मचारियों का ग्रुप इंश्योरेंस कर अटल पेंशन या पीएम सुरक्षा योजना के तहत जोड़ने का सुझाव दिया. पेंशन,अनुकंपा आधारित नियुक्ति, नियमित मासिक सैलरी, नियमित भुगतान हो तथा इन सफाई कर्मचारियों का नियमित रूप से प्रमोशन भी हो यह भी महत्वपूर्ण बताया.
उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय सफाई कर्मचारी आयोग का लक्ष्य सफाई कर्मचारियों जैसे कमज़ोर समूहों तक अपना दायरा बढ़ाना है. आम तौर पर, सफाई कर्मचारियों को कई मोर्चों पर गंभीर चुनौतियों का सामना करना पड़ता है- वित्तीय, स्वास्थ्य और सामाजिक. सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्रालय
सफाई कर्मचारियों की स्थिति, सुविधाओं और अवसरों में असमानताओं को समाप्त करने की दिशा में कार्य करता है.
मौके पर प्रशिक्षु आईएएस श्री लोकेश बारंगे, जिला स्तरीय पदाधिकारी, नगर निगम के अधिकारी, सफाई कर्मचारी व अन्य मौजूद थे.