डॉ. आशिष शास्त्री/न्यूज 11 भारत
सिमडेगा/डेस्क: सिमडेगा डिस्ट्रिक्ट कोर्ट में आज प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश राजीव कुमार सिन्हा की अदालत ने पाकरटांड़ थाना कांड संख्या 09/2018 के तहत दर्ज चार लोगों की हत्या मामले में सुनवाई करते हुए हत्या के मुख्य अभियुक्त को फांसी की सजा सुनाई है. वहीं इसके दो सहयोगी को आजीवन कारावास और 20-20 हजार रुपए जुर्माने की सजा सुनाई.
लोक अभियोजन अमर चौधरी ने जानकारी देते हुए बताया कि 17 मई 2018 को पाकरटांड़ थाना क्षेत्र के नोनगढ़ा गोंदलीपानी निवासी राकेश सोरेंग अपने घर के पास घेराव का कार्य कर रहा था. इसी क्रम में पड़ोसी संजय सोरेंग नामक व्यक्ति उसके पास आया और उस जमीन पर अपना दावा बताते हुए राकेश से उलझ गया. विवाद बढ़ने पर संजय सोरेंग अपने पड़ोसी राकेश पर कुल्हाड़ी से हमला करने लगा. राकेश कमजोर पड़ने लगा. इसी बीच, संजय व उसके सहयोगी निर्मल और पुनीत सोरेंग ने राकेश तथा बीच- बचाव करने आए गांव के निस्तोर सोरेंग समेत राकेश की पत्नी कार्मेला सोरेंग और उनके 05 वर्षीय बेटे फिलमोन की टांगी से काटकर हत्या कर दी.
घटना के बाद पुलिस ने राकेश और उसके सहयोगियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था. आज इसी मामले की सुनवाई करते हुए प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश की अदालत ने लोक अभियोजन अमर चौधरी द्वारा पेश किए गए साक्ष्य और गवाहों के बयान के आधार पर संजय सोरेंग सहित उसके सहयोगी निर्मल और पुनीत को दोषी करार देते हुए, संजय को फांसी और उसके सहयोगियों को आजीवन कारावास और 20 _ 20 हजार रुपए जुर्माना की सजा सुनाई. बताया गया कि फांसी की सजा पाने वाले संजय सोरेन पर पूर्व में भी एडीजे की अदालत के द्वारा एक अन्य हत्या के मामले में आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई थी. बता दें कि सिमडेगा में 25 वर्षों के बाद किसी को फांसी की सजा सुनाई गई है.