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रांची/डेस्क: महाराष्ट्र के मालेगांव में 2008 में हुए बम धमाके के मामले में 17 सालों के बाद यानी आज (31 जुलाई) को फैसला सुनाया जा सकता है. NIA स्पेशल कोर्ट द्वारा इस मामले में निर्णय लिया जा सकता हैं. मुख्य आरोपी भोपाल की पूर्व सांसद साध्वी प्रज्ञा ठाकुर हैं, जबकि उनके अलावा लेफ्टिनेंट कर्नल प्रसाद पुरोहित सहित 7 अन्य आरोपियों पर आतंकी साजिश, हत्या और धार्मिक उन्माद फैलाने के आरोप लगाए गए हैं.
विशेष न्यायाधीश एके लाहोटी ने सभी आरोपितों को आज, 31 जुलाई को अदालत में पेश होने का आदेश दिया है. इस निर्णय के कारण स्पेशल कोर्ट में अन्य मामलों की सुनवाई स्थगित रखने या वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से सुनवाई करने के लिए परिसर की अन्य अदालतों को निर्देशित किया गया है.
पूरा मामला
बता दें कि मालेगांव विस्फोट मामला 29 सितंबर 2008 का है. आज से लगभग 17 वर्ष पहले यानी 29 सितंबर 2008 को महाराष्ट्र के नासिक जिले के मालेगांव में एक बम विस्फोट हुआ था, जिसमें 6 लोगों की जान चली गई और 100 से अधिक लोग घायल हुए थे. यह धमाका रमजान के दौरान नमाज के लिए जा रहे लोगों के बीच हुआ, जिसके कारण घायलों की संख्या अधिक रही. धमाके के लिए एक मोटरसाइकिल का उपयोग किया गया था. इसमें विस्फोट लगाकर उसे वहां खड़ा किया गया था.
इस हमले के अगले दिन यानी 30 सितंबर 2008 को मालेगांव के आजादनगर थाने में विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया, जिसमें 307, 302, 326, 324, 427, 153-ए, 120बी, विस्फोटक अधिनियम और आर्म्स एक्ट शामिल थे.