न्यूज़11 भारत
रांची/डेस्क: आयकर विभाग द्वारा 09 जुलाई से 11 जुलाई 2025 तक रांची क्लब, रांची में बिहार एवं झारखण्ड क्षेत्र के लिए एक विशेष जागरूकता कार्यक्रम – ‘टैक्सपेयर हब’ का आयोजन किया जायेगा. इस तीन दिवसीय कार्यक्रम का उद्देश्य करदाताओं में स्वैच्छिक अनुपालन को प्रोत्साहित करना, कर प्रणाली की समझ को बढ़ाना तथा विभिन्न वर्गों के साथ सहभागिता स्थापित करना है.
इस अवसर पर केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड(CBDT), नई दिल्ली के प्रधान महानिदेशक (प्रशासन एवं करदाता सेवा), नई दिल्ली, प्रधान मुख्य आयकर आयुक्त (बिहार एवं झारखण्ड), पटना, आयकर महानिदेशक (अन्वेषण) पटना , तथा मुख्य आयकर आयुक्त, रांची सहित कई वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहेंगे.
कार्यक्रम के अंतर्गत निम्नलिखित प्रमुख गतिविधियाँ आयोजित की जाएगी :
क्षेत्रीय थीम आधारित आयोजन
बिहार एवं झारखण्ड की सांस्कृतिक और सामाजिक पृष्ठभूमि को ध्यान में रखते हुए टैक्सपेयर हब आयोजित किया जा रहा है. इसमें बार एसोसिएशन, ICAI, व्यापारी संघों, विभिन्न व्यावसायिक वर्गों, पेशेवरों, प्रमुख करदाताओं, छात्रों तथा आम नागरिकों की भागीदारी रहेगी. क्षेत्रीय करदाताओं को कर सम्बन्धी जानकारी दिलचस्प तरीकों से दी जायेगी.
करदाताओं के साथ संवाद :
नूतन आयकर बिल 2025, टीडीएस, आसूचना एवं आपराधिक अन्वेषण, छूट, शिकायत निवारण, अद्यतन आयकर रिटर्न, आयकर रिटर्न संबंधित मुद्दे, प्रेरक अभियान एवं करदाता सेवा प्रणाली जैसे विभिन्न विषयों के लिए विशेष जानकारी सत्र आयोजित किए जायेंगे. साथ ही, बड़े उद्योगों, राज्य सरकार के कर्मियों एवं प्रमुख व्यापारिक संगठनों के साथ वार्ताएं की जाएंगी.
शैक्षणिक संस्थानों से सहभागिता
कर विषयक जागरूकता को युवाओं तक पहुँचाने हेतु विद्यालयों के छात्रों के लिए संवाद, प्रश्नोत्तरी, चित्रकला, वाद-विवाद तथा निबंध प्रतियोगिताएं आयोजित की जाएंगी. इनके लिए कक्षा एक से कक्षा बारह के छात्रों को आमंत्रित किया जाएगा.
अधिकारियों हेतु क्षमता संवर्धन
क्षेत्रीय अधिकारियों/कर्मचारियों के लिए प्रशिक्षण सत्र आयोजित किए जाएंगे. इसके अंतर्गत बार एसोसिएशन, ICAI, व्यापारी संघों, व्यावसायिक वर्गों, पेशेवरों, प्रमुख करदाताओं तथा आम नागरिकों की भागीदारी भी सुनिश्चित की जाएगी.
निष्कर्ष
‘टैक्सपेयर हब’ सिर्फ एक तीन दिवसीय आयोजन नहीं, बल्कि “नए भारत की नई कर संस्कृति” की ओर एक ठोस कदम होगा. यह पहल करदाताओं को सुविधा, पारदर्शिता और सहभागिता के आधार पर सेवा देने के लिए विभाग की प्रतिबद्धता को दर्शाती है. आयकर विभाग इस अवधारण को अन्य शहरों में भी विस्तार देकर एक राष्ट्रीय मॉडल के रूप में विकसित करने की दिशा में अग्रसर है.