झारखंडPosted at: जुलाई 14, 2025 NTPC के चट्टी बरियातू कोल परियोजना में फर्जी दस्तावेज बनाकर पर्यावरणीय स्वीकृति लेने के मामले में कोर्ट में दर्ज हुआ बयान
एनटीपीसी के अधिकारियों के अलावे प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के रवींद्र प्रसाद,अशोक यादव और ए के सिंह बनाए गए हैं आरोपी

न्यूज11 भारत
रांची/डेस्क: हजारीबाग जिले के केरेडारी में एनटीपीसी के चट्टी बरियातू कोल परियोजना हेतु पर्यावरण स्वीकृति लेने के लिए फर्जी ग्राम सभा किए जाने के मामले में आज परिवादी शनि कांत उर्फ मंटू सोनी द्वारा दायर परिवादवाद में हजारीबाग सीजीएम कोर्ट में बयान दर्ज करवाया गया. इससे पूर्व कोर्ट ने मामले को स्वीकार कर वादी का बयान लेने के लिए तिथि मुकर्र किया था. सोमवार को शनि कांत का बयान दर्ज हुआ अब गवाहों का बयान दर्ज होगा. अधिवक्ता पवन कुमार यादव और अनिरुद्ध कुमार ने कोर्ट में पक्ष रखा. कोर्ट को बताया गया कि लोक सुनवाई के नाम पर तत्कालीन उप विकास आयुक्त सुदर्शन प्रसाद सिंह के नाम पर फर्जीदस्तावेज दस्तावेज का निर्माण किया गया था जिसमें उनके कार्यालय का पत्रक दिनांक और हस्ताक्षर नहीं था.
इसके अलावा उपस्थित लोगों का हस्ताक्षर भी नहीं था एवं मात्र आठ से दस लोगों का हस्ताक्षर दिखाया गया था. ग्राम सभा की प्रक्रिया में द्रोपती देवी, मोतीलाल सोनी और गणेश सोनी के द्वारा आपत्तियों को दिखाया गया, लेकिन उनका सिग्नेचर कहीं भी उपस्थिति पंजी में नहीं है. पूर्व विधायक लोकनाथ महतो को भी कथित तौर पर हुए लोक सुनवाई में उपस्थित दिखाया गया है, लेकिन उनका हस्ताक्षर नहीं लिया गया. दायर परिवादवाद के बयान में यह कहा गया है कि फर्जी तरीके से दस्तावेज बनाकर पर्यावरणीय लोक सुनवाई कर अनापत्ति प्रमाण प्राप्त कर खनन कार्य शुरू किया गया है. मामले में एनटीपीसी के तत्कालीन अपर महाप्रबंधक ए उपेंद्र राव,उप महाप्रबंधक नीरज कपूर, वरुण कुमार राय, बी जे प्रसाद, बी के सिंह एवं राजीव नंदन वरिष्ठ प्रबंधक (खनन) एवं झारखंड प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के तत्कालीन क्षेत्रीय पदाधिकारी रविंद्र प्रसाद अशोक कुमार यादव सहायक पर्यावरण अभियंता एवं एके सिंह ए एस ओ को नामजद आरोपी बनाया गया है.