प्रशांत शर्मा/न्यूज़11 भारत
हजारीबाग/डेस्क: बरकट्ठा प्रखंड क्षेत्र अंतर्गत ग्राम पंचायत झुरझुरी में नल से जल के लिए लोग दर-दर भटक रहे हैं. ग्रामीण जनता को नहीं मिला इस योजना के तहत एक भी बूंद पानी. इसकी जानकारी मुखिया प्रतिनिधि कुंवर प्रसाद ने दी. बताया जा रहा है कि इस महत्वाकांक्षी योजना की शुरुआत 2022 में की गई थी. 2 साल बीत जाने के बाद भी नल से जल के लिए लोग पानी के वजह से त्राहिमाम कर रहे हैं. ग्रामीण जनता का कहना है कि केंद्र सरकार की महत्वाकांक्षी योजना सिर्फ कागज पर हो गई है लेकिन धरातल पर शून्य है. जिसे देखने वाला कोई नहीं?
बताते चलें कि पंचायत झुरझुरी में कुल पांच गांव है और यह नल जल योजना लगभग 6 करोड़ 45 लाख की लागत से लगभग 71 से 73 जलमीनर लगाए जाने की सूची पूर्व मुखिया सुमन कुमार के द्वारा तैयार कर ठीकेदार को सोपा गया था.लेकिन धरातल पर आधा से भी कम जल मीनार टावर की तरह खड़ा है.
ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि पूर्व में जो सर्वे किया गया था. उसी सर्वे के आधार पर यह 6 करोड़ 45 लाख की लागत से योजना सिर्फ कागज कलम पर रखकर मिली भगत से पैसे की बंदर बाट की गई है. इस पर जल्द से जल्द दोषियों पर कार्रवाई की जाए, ताकि इस तरह की सरकार की योजनाओं को बंदर बाट कर अपना निजी फायदा उठाकर हम सब ग्रामीणों को यह योजना से वंचित रखा गया है.
इसके साथ ही ग्रामीणों ने इसकी जांच कर दोषियों पर कार्रवाई की मांग की हैं. विरोध करने वालो में अकबर अंसारी, जलाल मियां, मजहर अली, फयूम अंसारी, जफुला खातून, आलम अंसारी, सत्तर अंसारी, अरुण कुमार एवं अन्य ग्रामीण उपस्थित थे. विदित हो की प्रखंड क्षेत्र अंतर्गत विभिन्न स्थानों में जलमिमार शोभा की वस्तु बन गई हैं.