विद्या शर्मा/न्यूज11 भारत
जादूगोड़ा/डेस्क: घाटशिला विधानसभा क्षेत्र में इस बार का चुनावी माहौल बेहद दिलचस्प बनता जा रहा है. जादूगोड़ा के कांग्रेसी नेता टिक्की मुखी के राजनीतिक रुख को लेकर पूरे अनुमंडल में चर्चाएँ तेज हैं. कांग्रेस के युवा नेता टिक्की मुखी का नाम घाटशिला अनुमंडल में दलित समाज और मजदूर वर्ग के बीच अत्यंत लोकप्रिय है. वे वर्षों से समाज के कमजोर वर्गों के लिए कार्य करते आ रहे हैं और मजदूरों के अधिकारों की लड़ाई में हमेशा अग्रणी रहे हैं.
बीते कोरोना काल के दौरान सामाजिक कार्यकर्ता सह टिक्की मुखी ने जरूरतमंद लोगों के बीच सहायता सामग्री, वस्त्र और खाद्यान्न का वितरण कर जनसेवा का उदाहरण पेश किया था. उनके इस मानवीय पहल से क्षेत्र की जनता में उनके प्रति सम्मान और बढ़ गया. ठंड के दिन में हजारों जरूरतमंद लोगों को कंबल का वितरण भी करते हुए आ रहा है और डॉक्टर भीमराव अंबेडकर जयंती पर बच्चों को शिक्षा के लिए स्कूल का सामग्री का भी वितरण करते रहे है.
इस बार के घाटशिला उपचुनाव में दिलचस्प बात यह है कि टिक्की मुखी और जादूगोड़ा मंडल कांग्रेस के कार्यकर्ता अब तक झामुमो प्रत्याशी सोमेश सोरेन के प्रचार में सक्रिय नजर नहीं आ रहे है व चुनाव प्रचार से दूरी बनाए हुए है. इस स्थिति ने राजनीतिक हलकों में अटकलों का बाजार गर्म है क्या वे भी प्रदेश कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष प्रदीप बालमुचू की तरह इस चुनाव में खामोश बैठ कर चुनाव का आनंद लेगे या झामुमो प्रत्याशी सोमेश सोरेन की जीत सुनिश्चित करने को लेकर कदम उठाएंगे.
अब सबकी निगाहें इस बात पर हैं कि कांग्रेस नेता टिक्की मुखी कांग्रेस या किसी अन्य दल का समर्थन करते हैं.
अगर वे भाजपा प्रत्याशी बाबू लाल सोरेन या झामुमो (झारखंड मुक्ति मोर्चा) का साथ देते हैं लोगो का रुझान भी दिखेगा. फिलहाल घाटशिला अनुमंडल की राजनीति में सबसे बड़ा सवाल यही है.
कांग्रेस नेता टिक्की मुखी आखिर किसका साथ देंगे — भाजपा या झामुमो क्षेत्र में बड़ा सवाल बना हुआ हैं.
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