न्यूज़11 भारत
रांची/डेस्क: झारखंड बोर्ड मैट्रिक परीक्षा 2025 का परिणाम सामने आते ही राज्य की शिक्षा व्यवस्था पर बड़ा सवाल खड़ा हो गया हैं. एक तरफ जहां कुछ स्कूलों ने 100% रिजल्ट हासिल कर मिसाल पेश की है, वहीं राज्य के 7 स्कूल ऐसे भी है, जहां एक भी छात्र पास नहीं हो पाया. इतना ही नहीं 54 स्कूलों में केवल आधे ही छात्र पास हो सके हैं. सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि फेल हुए स्कूलों में शिक्षकों की कोई कमी नहीं हैं.देवघर स्थित आर मित्रा हाई स्कूल इसका बड़ा उदाहरण है, जहां 33 शिक्षक कार्यरत है लेकिन परीक्षा में शामिल सभी 8 छात्र फेल हो गए.
इस खराब प्रदर्शन पर शिक्षा सचिव उमाशंकर सिंह ने सभी जिलों के डीसी को रिपोर्ट भेजकर कड़ी कार्रवाई के निर्देश दिए हैं. उन्होंने संबंधित 61 स्कूलों के प्रधानाध्यापकों से स्पष्टीकरण मांगने, उनका तबादला या अनुशासनात्मक कार्रवाई करने का आदेश दिया हैं. साथ ही 19 जून तक स्थल निरीक्षण कर रिपोर्ट ई-विद्यावाहिनी पोर्टल पर अपलोड करने को कहा गया हैं.
जानकारी के अनुसार, पश्चिमी सिंहभूम में 6% की सबसे ज्यादा गिरावट दर्ज की गयी हैं. वहीं 10 जिले ऐसे है, जहां राज्य औसत से भी कम परिणाम रहा. भले ही राज्य स्तर पर पिछले वर्ष की तुलना में 1.3% से अधिक परीक्षार्थी उत्तीर्ण हुए हैं. लेकिन ऐसे 7 जिले हैं, जहां परिणाम में गिरावट दर्ज की गई हैं. इनमें रांची, खूंटी, गुमला, गढ़वा, रामगढ़, लोहरदगा, पूर्वी सिंहभूम, सिमडेगा, पश्चिमी सिंहभूम और सरायकेला खरसावां शामिल हैं.
वहीं दूसरी ओर राज्य में ऐसे भी 51 स्कूल है, जहां सभी छात्रों ने प्रथम श्रेणी में सफलता हासिल की हैं. इनमें 24 स्कूल ऐसे है, जिनका पिछले साल भी शत-प्रतिशत रिजल्ट रहा था. इसी तरह 777 स्कूलों का इस बार शत-प्रतिशत परिणाम रहा हैं. इन उत्कृष्ट स्कूलों के शिक्षकों को सम्मानित किया जाएगा.
सभी छात्र फेल होने वाले स्कूलों की सूची
- मॉडल स्कूल, पालजोरी, गुमला
- उत्क्रमित हाई स्कूल, शिकारीपाड़ा, दुमका
- आर मित्रा हाई स्कूल, देवघर
- मिथिला हाई स्कूल, सोनारी, पूर्वी सिंहभूम
- गवर्नमेंट हाई स्कूल, बिरसा नगर, पूर्वी सिंहभूम
- माइकल जान गर्ल्स हाई स्कूल, गोलमुरी, पूर्वी सिंहभूम
- उत्क्रमित हाई स्कूल, सोनगरा, पश्चिमी सिंहभूम