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रांची/डेस्क: मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन ने राजधानी रांची समेत झारखंड के अन्य प्रमुख शहरों में यातायात व्यवस्था को सुचारू और आधुनिक बनाने की दिशा में तीन महत्वपूर्ण सड़क परियोजनाओं को मंजूरी दे दी है. इन परियोजनाओं की विस्तृत प्रस्तुति पथ निर्माण विभाग के प्रधान सचिव सुनील कुमार ने मुख्यमंत्री के समक्ष दी गई. मुख्यमंत्री ने डीपीआर तैयार कर जल्द परियोजनाओं को धरातल पर उतारने का निर्देश दिया है. साथ ही, अन्य प्रमुख शहरों में भी यातायात सुधार के उपाय सुनिश्चित करने के निर्देश दिए.
01. राँची रेलवे स्टेशन (2nd approach) से राँची हवाई अड्डा पथ :-
राँची रेलवे स्टेशन (2nd approach) से राँची हवाई अड्डा तक मौजूदा brownfield एवं नये greenfield आरेखन पथ निर्माण का प्रस्ताव है, जिसकी कुल लम्बाई 4.67 कि.मी. एवं परियोजना लागत रू० 321.36 करोड़ होगी. यह परियोजना राँची शहर अन्तर्गत मौजूदा मुख्य मार्गों जैसे राँची रेलवे स्टेशन राजेन्द्र चौक डोरंडा हिनू से राँची हवाई अड्डा पर वर्तमान ट्रैफिक दबाव को कम करने एवं यात्रियों के लिए सुगम एवं निर्बाध यातायात के लिए आवश्यक है. परियोजना अन्तर्गत 0.8 कि.मी. लम्बाई में 2 लेन एलिवेटेड खण्ड और 3.87 कि.मी. लम्बाई में 4-लेन पथ निर्माण का प्रस्ताव है. इसके अतिरिक्त, हरमू नदी के किनारे 1.085 कि.मी. में तट संवर्धन एवं सौन्दर्गीकरण कार्य, साइकिल ट्रैक निर्माण व सोलर पैनल का अधिष्ठापन आदि नवीनतम प्रावधानों को भी शामिल किया गया है.
02. करमटोली-साइंस सिटी फ्लाईओवर :
करमटोली-साइंस सिटी फ्लाईओवर करमटोली चौक को बोरेया में साइंस सिटी से जोड़ने वाले 2.54 किलोमीटर लंबे फ्लाईओवर के निर्माण के साथ-साथ ओरमांझी तक वर्तमान पथ का उन्नयन कार्य एवं रिंग रोड तक greenfield alignment में 4 लेन पथ निर्माण कार्य के प्रस्ताव पर विस्तृत चर्चा की गई है. यह एक महत्वपूर्ण बुनियादी ढांचा परियोजना है जिसका उद्देश्य सर्कुलर रोड और बरियातू रोड जैसी प्रमुख शहरी धमनियों को ट्रैफिक कंजेशन की समस्या से मुक्त करना है.
यह फ्लाईओवर न केवल महत्वपूर्ण आवासीय, शैक्षिक और वाणिज्यिक क्षेत्रों को जोड़कर यात्रा को सुगम बनाएगा, बल्कि NH-33 और रिंग रोड के लिए एक महत्वपूर्ण फीडर कॉरिडोर के रूप में भी काम करेगा, जिससे क्षेत्रीय कनेक्टिविटी में काफी वृद्धि होगी. रिम्स और बूटी मोड़ जैसे चौराहों पर दबाव कम करके यातायात प्रवाह पर इसके तत्काल प्रभाव के अलावा, यह परियोजना एक प्रमुख आर्थिक उत्प्रेरक भी साबित होगा, जिससे सैकड़ों प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रोजगार पैदा हाने के साथ-साथ खुदरा गतिविधि और स्थानीय उद्यमिता को भी बढ़ावा मिलने की उम्मीद है.
माननीय मुख्यमंत्री द्वारा टीआरआई की तरफ साइड अप लेग को जोड़ने के साथ-साथ चिरौंजी चौक से डॉक्टर्स कॉलोनी बरियातू, हिल व्यू पथ एवं हरिहर सिंह पथ के लेन ऑग्मेंटेशन और जंक्शन इम्प्रूवमेंट हेतु फिजिबिलिटी स्टडी करने का निर्देश दिया गया. साथ हीं माननीय मुख्यमंत्री ने अंतू चौक जैसे अत्यधिक भीड़भाड़ वाले स्थानों पर ड्रोन सर्वेक्षण कराने का निर्देश दिया है ताकि सर्वोत्तम संभव समाधान का आकलन कर योजना का क्रियान्वयन किया जा सके.
03. अरगोड़ा चौक से कटहल मोड़ तक एलिवेटेड कोरिडोर :
राँची में अरगोड़ा चौक से कटहल मोड़ तक वर्तमान में ट्रैफिक कंजेशन की समस्या से निदान हेतु अरगोड़ा चौक पर फ्लाईओवर कम एलिवेटेड कॉरिडोर के निर्माण हेतु दो प्रस्तावों पर विस्तृत चर्चा की गई. इस संबंध में माननीय मुख्यमंत्री ने अरगोड़ा चौक पर ट्रैफिक की समस्या के सम्पूर्ण एवं दीर्घकालीन निदान हेतु अरगोड़ा चौक पर एक एलिवेटेड गोलचक्कर के साथ-साथ चारों दिशाओं (कटहल मोड, अशोक नगर, डीपीएस और सहजानंद) में रैंप के प्रावधान को शामिल करते हुए प्रस्ताव तैयार कर इस दिशा में आगे बढ़ने का निर्देश दिया.
04. माननीय मुख्यमंत्री ने राँची से गुजरने वाले भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NHAI) के पथों पर स्थित जंक्शन पॉइंट्स, विशेष रूप से रामपुर चौक, विकास, कटहल मोड़ चौक और इरबा पर बढ़ती सड़क दुर्घटनाओं पर गहरी चिंता व्यक्त की है. इस गंभीर स्थिति को देखते हुए, उन्होंने पथ निर्माण विभाग के पदाधिकारियों को NHAI के साथ समन्वय स्थापित कर इन सभी जंक्शन पॉइंट्स का तत्काल फिजिबिलिटी स्टडी कराने का निर्देश दिया है. इस अध्ययन के आधार पर, मुख्यमंत्री ने व्यावहारिक संरचनाओं जैसे ग्रेड सेपरेटरस, जंक्शन सुधार आदि उपायों को लागू करने का निर्देश दिया है, ताकि इन दुर्घटना संभावित चौराहों पर सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके और नागरिकों की जान-माल की रक्षा हो सके.